कोलेबिरा, भारत के हरे भरे पर्यावरण ( झारखण्ड ) में बसा हुआ एक छोटा और सुन्दर गांव है, जहाँ प्रकृति और संस्कृति का एक अमूल्य संगम है. ये छुपा हुआ गहना एक विविध संस्कृति, इतिहास और प्रकृति की समृद्ध धरा का गौरवशाली हिस्सा है ,जो सभों को एक असली ग्रामीण अनुभव प्रदान करता है। दोस्तों, मैं DesiredPDF.com के इस ब्लॉग पोस्ट (Exploring the hidden gem of Kolebira) के माध्यम से मेरे सबसे प्रिय गावों में से एक के बारे में बताना चाहता हूँ, क्यूंकि मैं इस गांव की मिट्टी से जुड़ा हुआ हूँ।
![kolebira कोलेबिरा](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/kolebira.jpg)
देश | भारत |
राज्य | झारखण्ड |
जिला | सिमडेगा |
जनसंख्या 2011 ( कोलेबिरा प्रखण्ड ) | 71,283 |
पिन कोड | 835211 |
नदी | देव नदी |
डैम | कोलेबिरा डैम |
मुख्य जनजातियाँ | मुंडा, उरांव, इत्यादि |
मुखिया | अंजना बेक |
प्रमुख | दूतामी हेमरोम |
“kolebira (कोलेबिरा)” the hidden gem of Jharkhand
ऐतिहासिक पृष्ठभूमि (Historical Background)
कोलेबिरा, सिमडेगा के इस छोटे से गांव का इतिहास बहुत हे समृद्ध और पुराना है. ये गांव प्राचीन कल से ही एक महत्वपूर्ण स्थल रहा है, जिसका इतिहास गांव के प्राचीन स्मारकों और खण्डरों से झलकता है।
प्राचीन काल ( Ancient Time)
कोलेबिरा का इतिहास प्राचीन काल से जुड़ा हुआ है। मौर्या और गुप्त साम्राज्यों के समय में ये क्षेत्र प्रसिद्ध रहा है. मौर्या सम्राट अशोका के शासन का भी प्रभाव इस क्षेत्र पर पड़ा। इस समय के खंडहर और प्राचीन मंदिरों की खोज इस स्थल को और भी मत्वपूर्ण बनती है।
राजपूत राजवंश (Rajput dynasty)
मध्यकाल में कोलेबीरा को राजपूत राजवंश ने अपने अधिकार में किया। वे यहाँ के शासक थे और इस क्षेत्र को उनकी राजधानी बनाया गया था । राजपूत साम्राज्य के समय मैं यहाँ की शक्ति और समृद्धि बढ़ती गयी और यह एक महत्वपूर्ण संस्कृति और व्यावसायिक केंद्र बन गया ।
ब्रिटिश राज (British Raj)
ब्रिटिश राज काल में भी कोलेबीरा का महत्व बना रहा। यह स्थल ब्रिटिश सरकार के प्रशासनिक और व्यावसायिक कार्यों का केंद्र था। यहाँ के लोगों ने स्वतंत्र आंदोलन में भी भाग लिया और देश की आज़ादी के लिए संघर्ष किया।
वर्तमान में कोलेबिरा
![kolebira kolebira](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/WhatsApp-Image-2024-02-28-at-18.34.02.jpeg)
आज, कोलेबिरा एक सुंदर और प्रकृतिक वातावरण के साथ एक समझदार और प्रगतिशील गाँव है। यहाँ के लोग अपने समृद्ध संस्कृति और प्राचीन इतिहास को महत्व देते और इसे आगे बढ़ाने का प्रयास करते हैं। यहाँ के लोगों की मेहनत और समर्पण इस स्थल को एक विसेष्ट स्थल बनती है।
शिक्षा (Education)
समय के साथ कोलेबीरा में बहुत से शिक्षण संस्थान मौजूद हैं , इनमे से कुछ बहुत पुराने और कुछ बहुत नए हैं, इस तरह यहाँ के लोग न केवल कृषि, बल्कि शिक्षा के क्षेत्र में भी बहुत आगे बढ़ रहे हैं और भारत के साथ-साथ विदेशों मे भी नाम कमा रहे हैं या कहें की नाम रोशन कर रहे हैं।
शिक्षण संस्थानों में से कुछ निम्न हैं :-
१. एस.के. बागे कॉलेज कोलेबिरा
![sk bage kolebira](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/sk-bage.jpg)
एस.के. बागे कॉलेज की स्थापना 1985 में कोलेबिरा में हुई थी, इसके पहले प्रधानाचार्य का नाम स्वर्गीय हारुन बेक था। यह कॉलेज कला, विज्ञान और वाणिज्य में डिग्री पाठ्यक्रम प्रदान करता है। इसके अलावा भी बहुत से पाठ्यक्रम वर्तमान में शामिल हैं जिसकी पूरी जानकारी हमें कॉलेज से मिलती है ।
२. एस.एस हाई स्कूल
एस.एस हाई स्कूल 1961 में स्थापित एक हिंदी माध्यम शिक्षण संस्थान है। इसमें कक्षा 9 से 12 तक पढ़ने की सुविधाएं हैं। स्कूल में क्रिकेट और फुटबॉल के लिए एक बड़ा खेल का मैदान है और यह एस.के. बागे कॉलेज और रणबहादुर सिंह चौक के कुछ दूरी में स्थित है।
वर्तमान में यहाँ इंटर कॉलेज भी खुल चुका है जहां विद्यार्थी अपनी 11वीं और 12 वीं की पढ़ाई भी अपनी पसंदीदा स्ट्रीम मे कर सकते हैं ।
३. जवाहर नवोदय विद्यालय कोलेबिरा, सिमडेगा
![jnv kolebira](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/jnv.jpeg)
जवाहर नवोदय विद्यालय का कोलेबिरा में होना कोलेबीरा वासियों के लिए बहुत बड़ी बात हैं, यहाँ की शिक्षा, या तो क्लास के अंदर या मैदान पर कहीं भी उच्च दर्जे की होती है। हम सभी जानते हैं , जवाहर नवोदय विद्यालय भारत सरकार द्वारा संचालित सबसे सफल शिक्षण संस्थानों मे से एक है। यहाँ से पढ़कर 80 प्रतिशत से ज्यादा बच्चे अपने जीवन मे बहुत आगे तक जाते हैं ।
यह विद्यालय प्रतिभाशाली छात्रों के लिए अच्छी गुणवत्ता वाली शिक्षा, 33% लड़कियों के लिए आरक्षित सीट , SC /ST के लिए विशेष आरक्षण (क्षेत्र अनुसार ) इत्यादि प्रदान करती है । जवाहर नवोदय विद्यालय कोलेबिरा, सिमडेगा में 75 % ग्रामीण क्षेत्र के बच्चे पढ़ते हैं जो की हमारे लिए बहुत अच्छी बात है ।
४. कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय कोलेबिरा, सिमडेगा
कस्तूरबा गांधी बालिका विद्यालय कोलेबिरा 2007 में स्थापित एक हिंदी माध्यम लड़कियों का संस्थान है। इसमें कक्षा 6 से 12 तक की पढ़ाई की सुविधा है। यहाँ बच्चियों को पढ़ाई के साथ साथ , अलग- अलग क्षेत्र जैसे, खेलकुद, karate मे परिपक्व करने की कोशिश की जाती है ,जिससे बच्चियाँ आगे बढ़कर अपनी बेड़ियों को तोड़ सकें ।
कोलेबिरा की पर्यटन स्थालें (places to visit in kolebira)
१. भावर पहाड़ :
![bhawar pahad bhawar pahad kolebira](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/WhatsApp-Image-2024-02-28-at-18.36.58.jpeg)
भावर पहाड़, कोलेबिरा , झारखंड मे स्थित है। यहाँ की प्राचीन और प्रकृतिक सौंदर्य लोगों को आकर्षित करती है । भावर पहाड़ के पास अनेक झरने और प्रकृतिक झीलें हैं, जो यहाँ के पर्यटकों के लिए आकर्षण का केंद्र हैं। यहाँ के पर्यटन स्थल अधिकांशता स्थानीय जनता और तीर्थ यात्री के लिए प्रमुख धार्मिक और प्रकृतिक स्थलों मे से एक है। यहाँ पर्यटकों को मंदिरों और झरनों का दर्शन का मौका मिलता है।
यहाँ पर्यटक अधिकांशत: मकर संक्रांति और रथ यात्रा के समय भारी संख्या में घूमने आते हैं ।
२. गोबरधसा पहाड़ :
![gobardhasa pahad gobardhasa pahad](https://desiredpdf.com/wp-content/uploads/2024/02/IMG_2155-scaled.jpg)
गोबरधसा पहाड़ ,कोलेबिरा, झारखंड में स्थित है। यह स्थानीय ऐतिहासिक महत्व के साथ साथ प्रकृतिक सौन्दर्य के लिए भी प्रसिद्ध है । गोबरधसा पहाड़ के पास एक मंदिर भी है जो यहाँ के धार्मिक और ऐतिहासिक महत्व को और बढ़ता है । यहाँ के पर्यटक पहाड़ के प्रकृतिक सौन्दर्य का आनंद लेते हैं और इस शांत वातावरण मे ध्यान मे लिपटे रहते हैं । यहाँ नीचे से ऊपर तक की पर्वतीय यात्रा भी संभव है जो पर्यटकों को अनूठा अनुभव प्रदान करता है ।
कोलेबिरा मे और भी बहुत से पर्यटक तथा धार्मिक स्थल हैं जैसे , बाघचंडी मंदिर, कोलेबिरा डैम इत्यादि जो इस गाँव के महत्व को और बढ़ाते हैं ।
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